परीक्षा में धांधली की जांच की मांग सुनने से SCने किया इनकार, याचिकाकर्ता से कहा- हाईकोर्ट जाएं

परीक्षा में धांधली की जांच की मांग सुनने से SCने किया इनकार, याचिकाकर्ता से कहा- हाईकोर्ट जाएं


BPSC Exam Row: बिहार लोक सेवा आयोग यानी BPSC की प्रिलिम्स परीक्षा रद्द करने की मांग पर सुनवाई से सुप्रीम कोर्ट ने मना कर दिया है. चीफ जस्टिस की अध्यक्षता वाली बेंच ने कहा है कि याचिका में रखी गई सभी मांगों पर विचार के लिए पटना हाई कोर्ट सक्षम है. याचिकाकर्ता को सीधे सुप्रीम कोर्ट आने की ज़रूरत नहीं थी. वह हाई कोर्ट में अपनी बात रखें.

आनंद लीगल एड फोरम ट्रस्ट नाम की संस्था की तरफ से दाखिल याचिका में BPSC प्रिलिम्स परीक्षा में धांधली का आरोप लगाया गया था. याचिकाकर्ता ने परीक्षा रद्द करने की मांग की थी. साथ ही, परीक्षा में हुई कथित गड़बड़ी की जांच सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज की निगरानी में सीबीआई से करवाने की मांग की थी.

सुप्रीम कोर्ट याचिका पर सुनवाई के लिए सहमत नहीं 

सुप्रीम कोर्ट में मामला चीफ जस्टिस संजीव खन्ना, जस्टिस संजय कुमार और के वी विश्वनाथन की बेंच में लगा. सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के वकील ने प्रदर्शनकारी छात्रों पर लाठीचार्ज का भी ज़िक्र किया. उन्होंने लाठीचार्ज के लिए जिम्मेदार एसपी और डीएम पर कार्रवाई की मांग की थी, लेकिन सुप्रीम कोर्ट याचिका पर सुनवाई के लिए सहमत नहीं हुआ.

अभ्यर्थियों ने पेपर लीक और धांधली का लगाया था आरोप

बीपीएससी ने 13 दिसंबर, 2024 को बिहार सिविल सेवा के लगभग 2000 पदों के लिए 70वीं प्रिलिम्स परीक्षा का आयोजन किया था. परीक्षा के दौरान पटना के बापू परीक्षा केंद्र में अभ्यर्थियों ने पेपर लीक और धांधली का आरोप लगाया. इसके चलते मचे हंगामे के चलते आयोग ने बापू केंद्र की परीक्षा रद्द कर दी. 4 जनवरी को 22 जगहों पर फिर से परीक्षा आयोजित हुई. लेकिन छात्र इस मांग पर अड़े हुए हैं कि सभी 4 लाख से ज्यादा अभ्यर्थियों के लिए दोबारा परीक्षा का आयोजन हो.

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