Mark Zuckerberg Asked To Leave Oval Office: मार्क जुकरबर्ग को व्हाइट हाउस के ओवल ऑफिस से बाहर जाने को कहा गया. इसकी जानकारी अमेरिकी मीडिया रिपोर्ट्स के हवाले से दी गई है. यह घटना तब हुई जब जुकरबर्ग, रिपब्लिकन नेताओं और अमेरिकी सेना के उच्च अधिकारियों के बीच हो रही एक संवेदनशील सैन्य बैठक में शामिल होने गए थे.
NBC न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार, यह बैठक एयर फोर्स के नेक्स्ट-जेनरेशन फाइटर जेट प्रोजेक्ट को लेकर हो रही थी. तभी अचानक जुकरबर्ग ओवल ऑफिस में घुस गए. रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से कहा गया कि सैन्य अधिकारी जुकरबर्ग की मौजूदगी से हैरान और असहज”थे, क्योंकि उनके पास सुरक्षा मंजूरी (Security Clearance) नहीं थी.
घटना को लेकर अलग-अलग दावे?
हालांकि इस रिपोर्ट ने लोगों का ध्यान आकर्षित किया, लेकिन इसके विरोध में भी बयान सामने आए. डेली मेल की एक रिपोर्ट के अनुसार, व्हाइट हाउस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने दावा किया कि यह पूरी घटना गलत ढंग से पेश की गई है. उन्होंने कहा कि जुकरबर्ग राष्ट्रपति के अनुरोध पर केवल नमस्ते कहने के लिए ओवल ऑफिस में आए थे और बाद में अपनी निर्धारित बैठक का इंतजार करने के लिए बाहर चले गए. उन्हें जबरदस्ती नहीं हटाया गया.
जुकरबर्ग का राजनीतिक इतिहास
मार्क जुकरबर्ग का राजनीति के साथ रिश्ता हमेशा से जटिल और बहुस्तरीय रहा है. एक समय पर वे प्रो-इमिग्रेशन नीतियों के समर्थक रहे. डेमोक्रेटिक नेताओं के करीब माने जाते थे. फेसबुक के माध्यम से राजनीतिक विज्ञापन नीति को लेकर विवादों में रहे, लेकिन डोनाल्ड ट्रंप के 2024 के चुनाव अभियान के दौरान उन्होंने एक नरम रुख अपनाया और कहा जाता है कि वे Make America Great Again (MAGA) एजेंडे की ओर झुकाव रखने लगे. इससे उनके समर्थक और विरोधी दोनों ही भ्रमित हो गए. जनवरी में उन्होंने ट्रंप के शपथ ग्रहण समारोह में भाग लिया था, जहां एलन मस्क और जेफ बेजोस जैसे अन्य टेक अरबपति भी मौजूद थे.
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