Operation Sindoor: पहलगाम में हुए आतंकी हमले का मास्टरमाइंड सैफुल्लाह कसूरी है. पाकिस्तान ने सैफुल्लाह कसूरी उर्फ सैफुल्लाह खालिद को राजनीतिक शरण भी दे रखी है. पाकिस्तान राजनीति के जरिए आतंकवाद को जस्टीफाई करने की कोशिश कर रहा है. कसूरी भारत का मोस्ट वॉन्टेड है और अमेरिका ने भी उसे ग्लोबल आतंकवादी घोषित कर रखा है, लेकिन वह पाकिस्तान में एक राजनीतिक पार्टी का महासचिव है. कसूरी को पाकिस्तान मरकजी मुस्लिम लीग पार्टी ने बड़ा पद दे रखा है.
पाकिस्तान ने लश्कर के आतंकी हाफिज अब्दुर रऊफ को आम शहरी और राजनीतिक कार्यकर्ता बताया था. हाफिज अब्दुर रऊफ वही आतंकवादी है जिसने मुरीदके में लश्कर के हेड क्वार्टर पर भारत के हमले में मारे गए आतंकवादियों का नमाजे जनाजा पाकिस्तान की सेना और सरकार के अधिकारियों की मौजूदगी में पढ़वाया था. हाफिज अब्दुर रऊफ का पर्दाफाश तो एबीपी न्यूज़ ने सोमवार को ही कर दिया था.
हाफिज सईद का बेटा है पीएमएमएल का अध्यक्ष
पाकिस्तान मरकजी मुस्लिम लीग (पीएमएमएल) का अध्यक्ष मोहम्मद तल्हा है. वह लश्कर चीफ हाफिज सईद का बेटा है. पाकिस्तान में लश्कर की गतिविधियां बेरोक टोक चलती रहें, इसलिए उसकी सारी हरकतें पीएमएमएल के बैनर तले चलाई जा रही हैं. सोशल मीडिया पर पीएमएमएल भारत के खिलाफ आग उगलता है और उसके नेता बनकर बैठे आतंकवादी भारत में अपनी नापाक हरकतों को अंजाम देने की साजिशें करते हैं.
पाकिस्तानी मरकजी मुस्लिम लीग ने सिंधु जल संधि को लेकर आयोजित किया था प्रदर्शन
पीएमएमएल ने भारत के सिंधु जल समझौता स्थगित करने के खिलाफ 5 मई का लाहौर में एक बड़ा प्रदर्शन आयोजित किया था. इस प्रदर्शन में भी भारत के खिलाफ जमकर जहर उगला गया. इसकी तस्वीरें भी इसी फेसबुक पेज पर पोस्ट की गई थीं.
हाफिज सईद के बेटे की चुनावी हार
पीएमएमएल की स्थापना 2024 में पाकिस्तान में हुए आम चुनाव से ठीक पहले की गई थी और इसने आम चुनाव में अपने उम्मीदवार भी उतारे थे. पार्टी बनाने के पीछे मकसद बताया गया कि पाकिस्तान को इस्लामिक वेलफेयर देश बनाना है. हाफिज सईद का बेटा और पार्टी का अध्यक्ष तल्हा चुनाव में पार्टी का सबसे बड़ा स्टार कैंडिडेट था. तल्हा लाहौर से चुनाव लड़ा, लेकिन हार गया. पहलगाम हमले का मास्टर माइंड सैफुल्लाह कसूरी पार्टी का स्टार कैंडिडेट नंबर दो था. वह पंजाब प्रांत की प्रोविंशियल असेंबली में कसूरी-6 सीट के चुनाव मैदान में उतरा था और वह भी चुनाव हार गया.
ऐसा नहीं है कि सैफुल्ला कसूरी अपनी हरकतों को पाकिस्तान में छिपाने की कोशिश कर रहा है. वो खुद फेसबुक पर मौजूद है और ऑपरेशन सिंदूर के बाद से लगातार लोगों से मिलने, रैलियां अटेंड करने की तस्वीरें, तकरीरें देने के वीडियो अपने फेसबुक अकाउंट पर पोस्ट कर रहा है. 22 अप्रैल के बाद इसी फेसबुक अकाउंट पर उसने अपने बयान और इंटरव्यू भी पोस्ट किए हैं. एक दिन पहले ही उसने पाकिस्तान की सेना के फेसबुक अकाउंट को टैग कर भारत के खिलाफ ज़हर उगला है, लेकिन ये सब वो राजनीतिक पार्टी का लबादा ओढ़कर कर रहा है.
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