Supreme Court on Vrindavan Corridor: सुप्रीम कोर्ट ने वृंदावन में कॉरिडोर बनाने के लिए जमीन के अधिग्रहण में बांके बिहारी मंदिर के फंड का इस्तेमाल करने की मंजूरी दे दी है. सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद उत्तर प्रदेश सरकार मंदिर के फंड से 500 करोड़ रुपये का इस्तेमाल कॉरिडोर के लिए जमीन अधिग्रहण के लिए कर सकेगी. हालांकि, इसे लेकर सुप्रीम कोर्ट ने एक शर्त भी रखी है. सुप्रीम कोर्ट ने शर्त रखी है कि कॉरिडोर के लिए अधिगृहित की हुई जमीन देवता या मंदिर ट्रस्ट के नाम से ही रजिस्टर्ड की जाए.
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने फंड के इस्तेमाल पर लगाई थी रोक
8 नवंबर, 2023 को इलाहाबाद हाई कोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार की कॉरिडोर योजना पर ब्रेक लगा दिया था. हाई कोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार को वृंदावन कॉरिडोर की जमीन के अधिग्रहण के लिए मंदिर के फंड का इस्तेमाल करने से रोक दिया था. हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने अब इस आदेश में बदलाव कर दिया है और उत्तर प्रदेश सरकार को बांके बिहारी मंदिर के फंड का इस्तेमाल करने की अनुमति दे दी है.
मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा?
सुप्रीम कोर्ट की जस्टिस बेला एम. त्रिवेदी और सतीश चंद्र शर्मा की बेंच ने कहा कि बांके बिहारी जी ट्रस्ट ने देवता और मंदिर के नाम से बैंक में फिक्स्ड डिपॉजिट करवा रखा है. सरकार इसमें से पैसे लेकर मंदिर के नजदीक कॉरिडोर बनाने के लिए जमीन खरीद सकती है. इस जमीन की रजिस्ट्री देवता के नाम पर करवाई जाए.
2022 में मंदिर में भगदड़ में श्रद्धालुओं की हो गई थी मौत
उल्लेखनीय है कि अगस्त 2022 में बांके बिहारी मंदिर में भगदड़ मच गई थी. इससे कुछ श्रद्धालुओं की मौत हो गई थी और कई घायल हो गए थे. इस घटना के बाद यह बात चर्चा में आई थी कि मंदिर पर उमड़ने वाली भीड़ के प्रबंधन के लिए वहां पर्याप्त जगह नहीं है. सुप्रीम कोर्ट ने भी सुनवाई के दौरान इस बात को संज्ञान में लिया था.