ED Action: ईडी ने (26 मार्च, 2025) को बड़ी कार्रवाई करते हुए पूर्व विधायक धरम सिंह छोकर, उनके सहयोगी सिकंदर छोकर और विकास छोकर से जुड़ी कंपनियों की 44.55 करोड़ की संपत्तियां जब्त कर ली हैं. ये कार्रवाई मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत की गई है. ये लोग 1500 से ज्यादा होमबायर्स से ठगी और 500 करोड़ से ज्यादा की हेराफेरी के आरोपों में फंसे हैं.
जब्त संपत्तियों में शामिल हैं 13 अचल संपत्तियां
ईडी द्वारा जब्त की गई संपत्तियों में 3 एकड़ कृषि भूमि, 2487 वर्ग मीटर कमर्शियल जमीन और 8 रेजिडेंशियल फ्लैट शामिल हैं. ये संपत्तियां दिल्ली, गुरुग्राम, फरीदाबाद और पानीपत में स्थित हैं. ED की जांच गुरुग्राम पुलिस द्वारा दर्ज FIRs के आधार पर शुरू हुई थी. जांच में पता चला कि M/s Sai Aaina Farms Pvt. Ltd. और इससे जुड़ी कंपनियों ने फर्जी दस्तावेजों और नकली बैंक गारंटी के जरिए सेक्टर 68, 103 और 104, गुरुग्राम में अफोर्डेबल हाउसिंग प्रोजेक्ट्स के लिए लाइसेंस लिया था. इन कंपनियों ने 3700 होमबायर्स से करीब 616 करोड़ वसूले, लेकिन घरों का निर्माण समय पर पूरा नहीं किया.
ईडी की जांच में क्या खुलासा हुआ
ED की जांच में खुलासा हुआ कि इन कंपनियों ने फर्जी बिलों के जरिए कंस्ट्रक्शन कॉस्ट को बढ़ा-चढ़ाकर दिखाया और पैसों को अपने निजी कामों में इस्तेमाल किया. इतना ही नहीं, होमबायर्स से जुटाए गए पैसों को ग्रुप की दूसरी कंपनियों को लोन के रूप में ट्रांसफर कर दिया, जो आज तक बकाया है. इससे पहले 15 फरवरी 2024 को ED ने M/s D S Home Construction Pvt. Ltd सिकंदर सिंह और विकास छोकर से जुड़ी 36.52 करोड़ की संपत्तियां अटैच की थी.
30 अप्रैल 2024 को ED ने सिकंदर सिंह को गिरफ्तार किया था और उनके खिलाफ स्पेशल कोर्ट, गुरुग्राम में आरोप पत्र दाखिल किया था जिस पर कोर्ट ने संज्ञान लिया. गुरुग्राम की स्पेशल कोर्ट ने धरम सिंह छोकर और विकास छोकर के खिलाफ कई बार गिरफ्तारी वारंट (NBW) जारी किया लेकिन वे अभी फरार है. कोर्ट ने अब उन्हें 19 मई 2025 तक पेश होने का अंतिम आदेश दिया है. अगर वे नहीं आए तो आगे सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी. इस मामले में अभी ED की जांच जारी है.
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